POOJA KOTHARIMom of a 8 yr 6 m old boy9 months agoA. दो महीने के शिशु का बार-बार उल्टी जैसा मूंह बनाना सामान्य हो सकता है, लेकिन इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं। इसे बेहतर समझने और संभालने के लिए निम्न जानकारी उपयोगी हो सकती है:
संभावित कारण
1. गैस या पेट फूलना:
शिशु का पाचन तंत्र अभी पूरी तरह से विकसित नहीं हुआ है, जिससे गैस या पेट में गड़बड़ी हो सकती है।
यह उल्टी जैसा महसूस कर सकता है।
2. रिफ्लक्स (GER - गैस्ट्रोइसोफेजियल रिफ्लक्स):
यह तब होता है जब शिशु के पेट का दूध या गैस वापस गले की ओर आता है।
शिशु को उल्टी जैसा मूंह बनाने और कभी-कभी दूध बाहर निकालने की वजह हो सकती है।
3. दूध ज्यादा पीना या जल्दी-जल्दी पीना:
यदि शिशु ज्यादा दूध पी लेता है या तेजी से पीता है, तो वह उल्टी जैसा मूंह बना सकता है।
4. लैक्टोज इनटॉलरेंस (दूध सहन न कर पाना):
यदि शिशु का पेट दूध को सहन नहीं कर पाता, तो गैस, पेट दर्द या उल्टी जैसा महसूस हो सकता है।
5. सामान्य नवजात व्यवहार:
कुछ शिशु अपने गले या मुँह में पैदा हुई लार या दूध के अवशेष को निकालने के लिए ऐसा कर सकते हैं।
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क्या करें?
1. दूध पिलाने के बाद डकार दिलाएं:
हर बार दूध पिलाने के बाद शिशु को कंधे पर लेकर उसकी पीठ को हल्के-हल्के थपथपाएं ताकि वह डकार ले सके।
2. सीधे रखें:
दूध पिलाने के बाद शिशु को कम से कम 20-30 मिनट तक सीधा रखें।
3. अधिक दूध न पिलाएं:
ध्यान दें कि शिशु एक बार में कितना दूध पी रहा है। जरूरत से ज्यादा पिलाने से बचें।
4. गैस कम करने के उपाय करें:
अगर गैस की समस्या है, तो डॉक्टर से सलाह लेकर गैस की दवा (जैसे सिमेथिकोन ड्रॉप्स) दे सकते हैं।
5. चिकित्सक से परामर्श करें:
यदि शिशु को बार-बार उल्टी हो रही है, वजन नहीं बढ़ रहा, या वह परेशान और रोता रहता है, तो डॉक्टर से सलाह लें।
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डॉक्टर से कब संपर्क करें?
शिशु को बार-बार दूध बाहर आ रहा हो।
उल्टी में हरा, पीला या खून जैसा कुछ दिखे।
वजन में कमी हो।
बहुत रोता हो और शांत न हो।
यह समस्या अक्सर सामान्य होती है और शिशु के बढ़ने के साथ ठीक हो जाती है। लेकिन यदि लक्षण लगातार बने रहें, तो डॉक्टर से परामर्श जरूर लें।
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